कहते हैं की यूँ ही नहीं होती हाथ की लकीरों के आगे उँगलियाँ,,रब ने भी किस्मत से पहले मेहनत लिखी है,,,,और जो उस मेहनत पर यकीन करके दिन रात एक करके आगे बढ़ते है वो ऐसे ही धरातल पर अपनी सफलता के झंडे गाड़ते हैं
फूल मालाओं से स्वागत हो रहा है,, हर कोई बधाई दे रहा है ये नज़ारा है आज़मगढ़ गाओं के रहने वाले जसलीन कुमार की सफलता का….
अमिताभ बच्चन के क्विज रियलिटी शो ‘कौन बनेगा करोड़पति’ (KBC) के 15वें सीजन में एक करोड़ रुपये जीतने वाले जसलीन कुमार (Jasleen Kumar) उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ (Azamgarh) जिले के रहने वाले हैं. जसलीन कुमार विकासखंड रानी की सराय के अवंतिकापुरी (आंवक) गांव के एक साधारण परिवार के मोटर मैकेनिक रामसूरत चौहान के बेटे हैं. आजमगढ़ शहर के एक कपड़ा शोरूम में बतौर सेल्समैन काम करने वाले जसलीन कुमार पैसों के अभाव में स्नातक की भी शिक्षा ग्रहण नहीं कर सके. मां राधिका देवी घरेलू महिला हैं. जसलीन कुमार की शादी हो चुकी है और दो बच्चे भी हैं.
व्ही जब उनसे सवाल किया गया की 1 करोड़ का क्या करेंगे तो उन्होंने क्या कहा आइये सुनते है:
एक करोड़ का क्या करेंगे के सवाल पर कहा कि पहले तो अपना कच्चा मकान गिरवा कर पक्का बनवाऊंगा। उसके बाद शहर में जमीन लेकर दो कमरे का घर बनवाऊंगा, जिससे बच्चों की अच्छी पढ़ाई हो सके। प्राथमिक शिक्षा शहर के नवीन सरस्वती शिशु मंदिर से ग्रहण की है।
तैयारी के बारे में बताया कि दैनिक जागरण अखबार का शुरू से मुरीद हूं। इसके अलावा भी अन्य अखबार पढ़ता रहा। फिलहाल जसनील आजमगढ़ नगर स्थित हर्रा की चुंगी पर किराए के मकान में परिवार के लोगों के साथ रह रहे
जसनील कुमार ने बताया- ‘कौन बनेगा करोड़पति (केबीसी) के मंच तक पहुंचाने और मुझे करोड़पति बनने तक के सफर में दैनिक जागरण की बहुत अहम भूमिका रही है। साल 1998 से मैं लगातार अखबार पढ़ रहा हूं। इससे राष्ट्रीय, अंतरराष्ट्रीय, खेल, राजनीति और मनोरंजन हर क्षेत्र की जानकारी मिल जाती है।
जसनील ने एक करोड़ रुपये के इनामी राशि वाले 15वें सवाल का सही जवाब दे दिया है। अब गुरुवार को प्रसारित होने वाले एपिसोड में पता चलेगा कि वह 16वें सवाल का सही जवाब देकर सात करोड़ रुपये जीत पाते है या नहीं।
केबीसी की हाटसीट तक पहुंचने के लिए जसलीन 2011 से प्रयासरत थे। दैनिक जागरण से बातचीत में उन्होंने बताया कि हॉटसीट तक पहुंचने में मुझे 12 साल लग गए।
मुझे पता था कि केबीसी में पहुंचकर ही मेरी परिस्थितियां सुधर सकती हैं और मेरे सपने पूरे हो सकते हैं। खेलने के दौरान सेट का तापमान बहुत कम था, मुझे ठंड लग रही थी तो मैंने यह बात बच्चन सर (अमिताभ बच्चन) को बताई। तो उन्होंने अपनी जैकेट उतारकर मुझे दे दिया। उनसे जैकेट मिलना और उनके गले लगना मेरी जिंदगी का अनमोल पल था। यह मुझे हमेशा याद रहेगा। मैंने उस जैकेट को एकदम संभालकर और पैक करके रखा है।